पत्रकारिता की बुलन्दीयों को नमन...
खुला पत्र
आदरणीय रमेशचन्द्र अग्रवाल साहब,
दैनिक भास्कर के मालिक-प्रेरणा स्रोत...
दैनिक भास्कर उत्तरी भारत के हिन्दी प्रदेशों के अलावा गुजरात, महाराष्ट्र तक पत्रकारिता की ऊँचाईयों में जनता के दु:ख-दर्द को सरकार तक पहुँचाने के साथ सरकारी भ्रष्टाचार को उजागर करने एवं बिना लोकसभा-विधानसभा में बैठे देश के विकास के लिए सरकार को सुझाव देने का माध्यम दैनिक भास्कर हम पत्रकारों के लिए गर्व एवं मार्गदर्शक के रूप में हैं। हमें आपके विज्ञापनों की भीड़ में छुपे समाचारों को ढ़ूंढ़ कर पढऩे में कोई परेशानी नहीं है और ना ही हम आपकी व्यावसायिक तरक्की से जलते हैं। हम इस बात से खुश हैं कि सरकारी विज्ञापनों के सहारे पर चलने वाले समाचार पत्रों की भीड़ में एक साथी ऐसा भी है जो अपने बल-बूते पर जि़न्दा है।
आज के (13 फरवरी) दैनिक भास्कर में एक विज्ञापन लगभग नग्न लड़कियों का लेडीज अंडरगारमेंट कम्पनी की तरफ से देखा। थोड़ा दु:ख हुआ नज़र अंदाज़ कर गये, लेकिन मन शांत नहीं रहा। अब तक जापानी तेल, लिंग वर्धक कैप्सूल और सीना उभारने वाले बॉडी टोनर के विज्ञापन दैनिक भास्कर जैसे बड़े और सम्पन्न समाचार पत्र में अखरते थे, लेकिन आज का अर्धनग्न विज्ञापन देखकर मन में ख्याल आया कि दैनिक भास्कर के मालिक रमेशचन्द्र अग्रवाल साहब को उनके अबोध पोता-पोती-नाती इस विज्ञापन के देखकर लाल या ब्ल्यू कलर की चड्डी लाने का कहेंगे तो आपके मन को कैसा लगेगा। इससे अधिक चिंता इस बात की है कि अधिक से अधिक विज्ञापन लाने के लिए कहीं दैनिक भास्कर की व्यावसायिक टीम अगला विज्ञापन हैयर रिमूवर क्रीम बेचने वाली कम्पनी का बालों पर क्रीम लगाकर .......... विज्ञापन नहीं छाप देवें।
दैनिक भास्कर के मालिक-प्रेरणा स्रोत...
दैनिक भास्कर उत्तरी भारत के हिन्दी प्रदेशों के अलावा गुजरात, महाराष्ट्र तक पत्रकारिता की ऊँचाईयों में जनता के दु:ख-दर्द को सरकार तक पहुँचाने के साथ सरकारी भ्रष्टाचार को उजागर करने एवं बिना लोकसभा-विधानसभा में बैठे देश के विकास के लिए सरकार को सुझाव देने का माध्यम दैनिक भास्कर हम पत्रकारों के लिए गर्व एवं मार्गदर्शक के रूप में हैं। हमें आपके विज्ञापनों की भीड़ में छुपे समाचारों को ढ़ूंढ़ कर पढऩे में कोई परेशानी नहीं है और ना ही हम आपकी व्यावसायिक तरक्की से जलते हैं। हम इस बात से खुश हैं कि सरकारी विज्ञापनों के सहारे पर चलने वाले समाचार पत्रों की भीड़ में एक साथी ऐसा भी है जो अपने बल-बूते पर जि़न्दा है।
आज के (13 फरवरी) दैनिक भास्कर में एक विज्ञापन लगभग नग्न लड़कियों का लेडीज अंडरगारमेंट कम्पनी की तरफ से देखा। थोड़ा दु:ख हुआ नज़र अंदाज़ कर गये, लेकिन मन शांत नहीं रहा। अब तक जापानी तेल, लिंग वर्धक कैप्सूल और सीना उभारने वाले बॉडी टोनर के विज्ञापन दैनिक भास्कर जैसे बड़े और सम्पन्न समाचार पत्र में अखरते थे, लेकिन आज का अर्धनग्न विज्ञापन देखकर मन में ख्याल आया कि दैनिक भास्कर के मालिक रमेशचन्द्र अग्रवाल साहब को उनके अबोध पोता-पोती-नाती इस विज्ञापन के देखकर लाल या ब्ल्यू कलर की चड्डी लाने का कहेंगे तो आपके मन को कैसा लगेगा। इससे अधिक चिंता इस बात की है कि अधिक से अधिक विज्ञापन लाने के लिए कहीं दैनिक भास्कर की व्यावसायिक टीम अगला विज्ञापन हैयर रिमूवर क्रीम बेचने वाली कम्पनी का बालों पर क्रीम लगाकर .......... विज्ञापन नहीं छाप देवें।
आदरणीय
रमेश जी, जीवन में सफलताएं बहुत मुश्किल से मिलती है, लेकिन सफलता की
ऊँचाईयों पर बने रहने और आपसे प्रेरणा लेने वालों के लिए कुछ सीमाएं भी तय
करनी होती है। हम भारतीय एवं सरकारी स्कूलों से निकले रूढ़ीवादी विचारधारा
के लोगों के बीच जीवन यापन करते हैं अब तक भारतीय परिवारों में बाप-बेटी,
भाई-बहिन अंडरगारमेंट्स में स्वीमिंग पूल में एक साथ स्नान करना नहीं सीखे
हैं।
हम आप पर लक्ष्मीजी की असीम कृपा से कत्तई नाराज नहीं हैं, लेकिन ऐसे विज्ञापनों से होने वाली आय से शायद लक्ष्मीजी भी प्रसन्न नहीं होगी।
श्री रमेश जी आपकी ऊँचाईयों को नमन करते हुए औपचारिक शब्द, इस सुझाव को अन्यथा नहीं लेवें।
हम आप पर लक्ष्मीजी की असीम कृपा से कत्तई नाराज नहीं हैं, लेकिन ऐसे विज्ञापनों से होने वाली आय से शायद लक्ष्मीजी भी प्रसन्न नहीं होगी।
श्री रमेश जी आपकी ऊँचाईयों को नमन करते हुए औपचारिक शब्द, इस सुझाव को अन्यथा नहीं लेवें।
आपका पत्रकार साथी
अब्दुल सत्तार सिलावट
वरिष्ठ पत्रकार एवं प्र्रधान सम्पादक
दैनिक महका राजस्थान
assilawat@gmail.com
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